वैज्ञानिक नाम: Pterocarpus santalinus
परिवार: सेंटलेसी
चंदन दो प्रकार का होता है: लाल चंदन, सफ़ेद चंदन
लाल चंदन दक्षिण भारत के जंगलों में पाया जाने वाला एक पेड़ है जिसकी लकड़ी हिन्दूओं के द्वारा पवित्र मानी जाती है|
यह एक सदाबहार पेड़ है जो मूल रूप से परजीवी होता है। इस पौधे की जड़ें हॉस्टोरिया के सहारे दूसरे पेड़ों की जड़ों से जुड़कर भोजन, पानी और खनिज पाती रहती है|
चंदन के हरे पेड़ में खुशबू नहीं होती है। वास्तव में चंदन के पेड़ की पक्की लकड़ी में ही खुशबू होती है। जिसे हीरा कहा जाता है |
चंदन की लकड़ी का आसवन करके तेल निकाला जाता है। जड़ों में तने से ज्यादा तेल होता है।
आयुर्वेद में चंदन को शीतल, शक्तिवर्धक, दंतक्षयनाशक और शरीर को शक्ति देने वाला माना गया है।
लाल चन्दन का पाउडर में थोड़ा सा पानी या गुलाबजल मिलाकर पेस्ट बनाया जा सकता है। अब इसे अपनी त्वचा पर 10 मिनट तक लगाकर रखें और इसके बाद इसे गुनगुने पानी (lukewarm water) से धो लें। आप तुरंत ही देखेंगे कि आपकी त्वचा बेदाग़ और निखरी हुई सी हो गयी है। बेहतरीन त्वचा पाने के लिए इसका हफ्ते में दो बार प्रयोग करें।
लाल चंदन में ऐसे तत्व मौजूद होते है जो आसानी से आपकी त्वचा की झुर्रियों को दूर करते है। इसमें त्वचा को डिटॉक्स करने के अलावा उम्र के निशान छिपाने के गुण भी होते हैं।
रूखी त्वचा से बचने के लिए दूध और शहद, लाल चंदन का मिश्रण अपने चेहरे पर लगाए। और 20 मिनट के बाद पानी से इसे धो लें। लाल चंदन पाउडर त्वचा की टोन में सुधार करने के लिए मालिश के तेल में मिलाया जा सकता है।
चंदन पाउडर टमाटर के रस के साथ मिलाकर फेस पैक के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है। विशेष रूप से इस फेस पैक के नियमित रूप से इस्तेमाल करते रहने से ये प्रभावी रूप से मुँहासे और काले धब्बे से छुटकारा पाने में मदद करता है।
#लाल चंदन पाचन क्रिया को ठीक रखने में भी मदद करता है। लाल चंदन का किसी भी रूप में प्रयोग गुणकारी होता है। चाहे वह तेल, पाउडर, साबुन आदि किसी भी रूप में हो, चंदन शरीर को प्रक्रिया का संतुलन बनाता है। साथ में स्त्रायुतंत्र और श्वास प्रक्रिया को मजबूत बनाता है।
गर्मी के मौसम में पसीना तो आता ही है, लेकिन अगर आपको बहुत ज्यादा पसीना आता है और शरीर से दुर्गंध भी आती है, तो लाल चंदन पाउडर में पानी मिला कर बदन पर लगाने से पसीना कम होगा। इससे आप घंटो तक खुद को तरोताजा महसूस कर सकते हैं।
#लाल चन्दन पाउडर को तुलसी के पत्तों के साथ पीसकर माथे पर लेप करने से सिर दर्द में राहत मिलती है।
चंदन के तेल में मसूड़ों को मजबूत करने वाले तत्व पाए जाते हैं। इसलिए ज्यादातर दंत मंजनों में इसका प्रयोग किया जाता है। इससे दांत से संबंधित समस्याओं से भी बचा जा सकता है।
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